अश्कों के दामन में मेरी रातें अब सोती है ,
तुम आये थे तुम आवोगे ये सोच अब सुबह है !
तुम आये थे तुम आवोगे ये सोच अब सुबह है !
मिलता है अब हर कोई एक नसीहत क़ी तरह ,
तेरे जाने के बाद ,अब कहाँ वेसी सूबह, और वेसी शाम होती है !उसी जगह करते हुए इंतजार तुमहारा ,
किस सफाई से तुमने थामा था हाथ ,ये याद करते हैं !
Nice,, Bahut sundar likha hai aapne... Isi tarah likhti rahiye aur post karti rahiye.. Dhanyawaad...
ReplyDeleteHellow friend.
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